जोगी-नाम, जोगी-जाति के बाद पत्थर से निर्मित जोगी-मूर्ति से डरने लगे विरोधी – अमित

छत्तीसगढ़ की माटी में छत्तीसगढ़ के ही माटी पुत्र स्व जोगी और छत्तीसगढ़ महतारी मूर्ती लगने नहीं दिया, शर्मनाक – धर्मजीत सिंह
छत्तीसगढ़ के महापुरुष की मूर्ति छत्तीसगढ़ में नहीं तो क्या गैर राज्य में लगाएं ? – अमित
सरकार का चाल,चरित्र और चेहरा – “बात हे अभिमान के, छत्तीसगढ़िया अपमान के ” जैसा – अमित
बीरगांव में छत्तीसगढ़ महतारी और स्व जोगी के मूर्ति अनावरण में साक्षी बनने आए थे हजारों छत्तीसगढ़ियां।
अमित जोगी, धर्मजीत सिंह के साथ रेणु जोगी भी पहुँची बीरगांव
जिला अध्यक्ष ओम प्रकाश देवांगन और महापौर प्रत्याशी एवज देवांगन ने संभाला मोर्चा
बीरगांव बना पुलिस छावनी का केंद्र, मुख्य मार्ग से कार्यक्रम स्थल तक जगह जगह पुलिस का पहरा,
पुलिस से झूमाझटकी के बीच युवा मोर्चा अध्यक्ष प्रदीप साहू सहित कई हुए चोटिल
हजारों जनता कांग्रेसी हुए गिरफ्तार , एडीएम ने की रिहाई की घोषणा
✍🏻 *रायपुर छत्तीसगढ़ दिनांक 17 जनवरी 2020। जिला जनता काँग्रेस छत्तीसगढ़ (जे) के अध्यक्ष ओम प्रकाश देवांगन और बीरगांव महापौर प्रत्याशी एवज देवांगन ने संयुक्त बयान जारी कर कहा 17 जनवरी का दिन राजधानी के बीरगांव की जनता के लिए खास दिन रहता है। आज के ही दिन 17 जनवरी 2003 को छत्तीसगढ़ के माटी पुत्र, छत्तीसगढ़ के गौरव और राज्य के प्रथम मुख्यमंत्री स्व अजीत जोगी ने बीरगांव को नगर पालिका का दर्जा दिलाकर बीरगांव को एक नया पहचान दिलाया था इसलिए आज के दिन को ऐतिहासिक बनाने के लिए बीरगांव की जनता स्व अजीत जोगी के मूर्ति के साथ ही छत्तीसगढ़ महतारी की मूर्ति लगाना चाहती थी लेकिन छत्तीसगढ़ की सरकार को शायद यह मंजूर नहीं था इसलिए आज सुबह से ही बीरगांव को पुलिस का छावनी बना दिया और मुख्य मार्ग से लेकर कार्यक्रम स्थल तक पुलिस का पहरा लगा दिया इतना ही नहीं लोगों को घर से भी निकलने नहीं दे रहे थे।
नेता द्वय देवांगन बन्धुओ ने कहा इसके बाद भी हजारों की संख्या में स्व जोगी जी के चाहने वाले और बीरगांव की जनता बुधवारी बाजार में उमड़ पड़ी और वह मूर्ति अनावरण के कार्यक्रम को साक्षी बनना चाहती थी।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष अमित जोगी ने कहा छत्तीसगढ़ के माटी पुत्र स्वर्गीय अजीत जोगी और छत्तीसगढ़ महतारी की मूर्ति छत्तीसगढ़ की अपनी धरती में ही स्थापित नहीं होने देना शर्मनाक है। छत्तीसगढ़ के महापुरुषों की मूर्ती छत्तीसगढ़ में ना लगाएं तो फिर कहां लगाएं यह भूपेश सरकार बताएं ?
अमित जोगी ने कहा कांग्रेस सरकार का चाल चरित्र और चेहरा सामने गया है इनका नारा “बात हे अभिमान के, छत्तीसगढ़िया स्वभिमान के” नहीं बल्कि “बात हे अभिमान के, छत्तीसगढ़िया अपमान के” है।
अमित जोगी ने कहा पहले जोगेरिया से ग्रस्त जोगी विरोधी जोगी-नाम, जोगी-जाति से डरते थे अब पत्थर से निर्मित जोगी-मूर्ति से डरने लगे हैं।
अमित जोगी ने कहा विरोधी जोगीजी की मूर्ति भले ही नहीं लगने दे रहे हैं लेकिन जोगी जी को छत्तीसगढ़ियों के दिलों से नहीं निकाल सकते है।
जनता कांग्रेस विधायक दल के नेता, वरिष्ठ विधायक धर्मजीत सिंह ने कहा राज्य के पहले मुख्यमंत्री स्व अजीत जोगी जी दबे, कुचले पिछड़े गरीबों के लिए जो जनकल्याणकारी नीतियां बनाई उन्हीं के योजनाओं के आधार पर छत्तीसगढ़ को देश विदेश में एक नई पहचान आज उसी नेता के मूर्ती को लगने नहीं देना इस बात का परिचायक है कि जोगी जी अतीत ही नहीं छत्तीसगढ़ के भविष्य है, विरोधी कितनी भी ताकत लगा लें उनकी लोकप्रियता कभी कम नहीं होने वाली।
कार्यक्रम के अंत में हजारों की संख्या में बीरगांव की जनता जोगी जी की मूर्ति को लगाने के लिए बुधवारी बाजार की ओर आगे बढ़ रही थी इस दौरान पुलिस ने सभी को रोक लिया, पुलिस से झूमा झटकी के बीच अजीत जोगी युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष प्रदीप साहू सहित अनेक जोगी समर्थकों को चोट भी आई पुलिस ने हजारों को गिरफ्तार किया बाद में एडीएम ने सभी लोगों को गिरफ्तार करने की घोषणा कर दी।
ज्ञात हो कि हाल में ही वीरगांव के बुधवारी बाजार में लगाए जाने वाले छत्तीसगढ़ के माटी पुत्र प्रथम मुख्यमंत्री स्वर्गीय अजीत जोगी व छत्तीसगढ़ के महतारी का मूर्ति लगाए जाने वाले चबूतरा को बीरगांव निगम के द्वारा तोड़ दिया गया था और आज प्रशासन ने उनके मूर्ती को लगने नहीं दिया जिससे प्रदेश भर में आक्रोश है।
आज के कार्यक्रम में मुख्य रूप से महामंत्री महेश देवांगन जी अजीत जोगी महिला मोर्चा प्रदेश अध्यक्ष डॉ अनामिका पाल जी अजीत जोगी युवा मोर्चा प्रदेश अध्यक्ष प्रदीप साहू जी अजीत जोगी छात्र संगठन प्रदेश अध्यक्ष रवि चंद्रवंशी जी अजीत जोगी अनुसूचित जाति मोर्चा उदय चरण बंजारे जी श्री छत्रपाल सिरमोर जी मोतीराम जी बिरगांव ब्लॉक अध्यक्ष वेद राम साहू जी श्री भीखम देवांगन जी डॉक्टर शकील मोहम्मद फिरोज जी श्रीमती नीतू उईके जी श्रीकांत तिवारी जी श्री महेंद्र पांडे जी श्री विपिन चौबे जी आदि प्रमुख रूप से शामिल थे